बूढ़ा, लाचार, इंसान अक्सर अकेला रह जाता है। हौंसलें बढ़ाने का काम करने वाली राहत इंदौरी की मोटिवेशनल शायरी कुछ इस प्रकार है – मेरे कमरे को सजाने की तमन्ना है तुम्हें “रोज़ पत्थर की हिमायत में ग़ज़ल लिखते हैं आख़िर चांद भी अकेला रहता हैं सितारों के बीच। क्यूँ https://youtu.be/Lug0ffByUck